दिल्ली। आचार्य प्रमोद कृष्णम ने विश्व प्रसिद्ध तिरुपति बालाजी मंदिर के प्रसाद में मिलावट को सनातन धर्म के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय साजिश बताया है। उन्होंने कहा है कि देश के कई राजनीतिक दल और उनके नेता इसमें शामिल हैं। आचार्य ने कहा, यह बहुत खतरनाक बात है।
यह सनातन धर्म के खिलाफ साजिश है। कभी सनातन धर्म को नष्ट करने की साजिश होती है। कभी इसे खत्म करने की कोशिश होती है। इस बार हमारे धर्म को भ्रष्ट करने की साजिश हो रही है। यह सिर्फ भारत में ही नहीं, बल्कि अंतरराष्ट्रीय स्तर पर हो रहा है। विदेशी ताकतें भारत को नष्ट करना चाहती हैं। विदेशी ताकतें जानती हैं कि जब तक सनातन नष्ट नहीं होगा, भारत को नष्ट नहीं किया जा सकता।
धर्म को नष्ट करने की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर चल रही साजिश
उन्होंने इसे घोर पाप बताया। उन्होंने कहा, यह दुर्भाग्यपूर्ण है कि हमारे धर्म को नष्ट करने की अंतरराष्ट्रीय स्तर पर चल रही साजिश में भारत के कुछ राजनीतिक दल और नेता भी शामिल हैं। यह उसी का नतीजा है। अब सच्चाई सामने आ गई है। उस समय वाईएसआर कांग्रेस की सरकार थी। जगन मोहन रेड्डी ने हिंदुओं को धोखा दिया है। यह घोर पाप है। इसका प्रायश्चित करना बहुत कठिन है। अब समय आ गया है जब पूरे सनातन धर्म को एकजुट होना पड़ेगा।
सनातन धर्म को बचाने के लिए हमें एकजुट होना पड़ेगा। उन्होंने आगे कहा कि पूरे भारत में सनातन धर्म की रक्षा के लिए एक ऐसी संस्था की स्थापना होना बहुत जरूरी है जो हमारे सभी मंदिरों और मठों, सभी आस्था के केंद्रों की सही तरीके से देखभाल और संचालन कर सके। यह हमारे साथ विश्वासघात है। तिरुपति बालाजी मंदिर हमारी आस्था का प्रतीक है। उस मंदिर में इस तरह की साजिश हो रही है। अब समय आ गया है कि सनातन धर्म को बचाया जाए। सनातन धर्म को बचाने के लिए सभी को एक साथ आना होगा।