भारतीय रिजर्व बैंक मौद्रिक नीति: चेक सेटलमेंट (क्लियरिंग) अब कुछ ही घंटों में हो जाएगा। भारतीय रिजर्व बैंक (RBI) ने चेक क्लियरेंस में लगने वाले समय को कुछ घंटों तक कम करने और इससे जुड़े जोखिम को कम करने के लिए कदमों की घोषणा की है। वर्तमान में चेक जमा करने से लेकर राशि प्राप्त करने में दो दिन का समय लगता है। लेकिन नई व्यवस्था में चेक जमा करने के कुछ ही घंटों में ‘क्लियर’ हो जाएगा।
RBI ने क्या कहा?
RBI गवर्नर शक्तिकांत दास ने गुरुवार को चालू वित्त वर्ष की तीसरी मौद्रिक नीति समीक्षा की घोषणा करते हुए कहा, “चेक क्लियरिंग में सुधार, सेटलमेंट जोखिम को कम करने और ग्राहकों को बेहतर सेवाएं प्रदान करने के उद्देश्य से चेक ट्रंकेशन सिस्टम (CTS) की मौजूदा प्रक्रिया में बदलाव का प्रस्ताव है।” उन्होंने कहा कि इसके तहत मौजूदा CTS सिस्टम के तहत ‘बैच’ में प्रोसेसिंग के बजाय कारोबारी घंटों के दौरान निरंतर आधार पर क्लियरिंग की व्यवस्था की जाएगी।
कैसे काम करेगी नई व्यवस्था
आरबीआई के अनुसार, “नई व्यवस्था में कुछ ही घंटों में चेक को ‘स्कैन’ किया जाएगा, प्रस्तुत किया जाएगा और क्लियर किया जाएगा। इससे कुछ ही घंटों में चेक क्लियर हो जाएगा, जबकि वर्तमान में इसमें दो दिन (टी+1) तक का समय लगता है।” दास ने कहा कि इस संबंध में विस्तृत दिशा-निर्देश जल्द ही जारी किए जाएंगे। इसके अलावा आरबीआई ने बैंकों द्वारा अपने ग्राहकों के बारे में दी जाने वाली रिपोर्ट ‘क्रेडिट’ सूचना कंपनियों को हर पखवाड़े देने का प्रस्ताव दिया है। वर्तमान में यह रिपोर्ट महीने में एक बार दी जाती है।
नौवीं बार ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं
आरबीआई ने आर्थिक गतिविधियों में जारी तेजी और मुद्रास्फीति पर कड़ी नजर रखने का हवाला देते हुए लगातार नौवीं बार नीतिगत दरों को अपरिवर्तित रखने का फैसला किया है, जिससे ब्याज दरों में कमी की उम्मीद कर रहे आम लोगों को निराशा हाथ लगी है। मई 2022 से लगातार छह बार दरों में 250 आधार अंकों की बढ़ोतरी के बाद पिछले साल अप्रैल में दरों में बढ़ोतरी का चक्र रोक दिया गया था और यह अभी भी इसी स्तर पर है।