रांची: 23 अगस्त को मोरहाबादी मैदान में आयोजित विरोध रैली और सीएम आवास के घेराव के दौरान भड़काऊ भाषण देने, पुलिस पर जानलेवा हमला करने और सरकारी काम में बाधा डालने के आरोप में लालपुर थाने में केस दर्ज किया गया है। यह केस कार्यपालक दंडाधिकारी संजय कुमार की शिकायत पर दर्ज किया गया है।
इन लोगों को बनाया गया आरोपी
दर्ज प्राथमिकी में केंद्रीय रक्षा राज्य मंत्री संजय सेठ, पूर्व केंद्रीय मंत्री अर्जुन मुंडा, पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी, नेता प्रतिपक्ष अमर बाउरी, सांसद बीडी राम, ढुलू महतो, आदित्य साहू, दीपक प्रकाश, प्रदीप वर्मा, विद्युत वरण महतो, मनीष जयसवाल, विधायक भानु प्रताप शाही, नीलकंठ सिंह मुंडा, रणधीर सिंह, डॉ. नीरा यादव, रामचंद्र चंद्रवंशी, अपर्णा सेन गुप्ता, कुशवाहा शशि भूषण मेहता, पुष्पा देवी, समरी लाल, केदार हाजरा, राज सिन्हा शामिल हैं।
सीपी सिंह, नवीन जयसवाल, नारायण दास, अमित मंडल, आलोक चौरसिया, कोचे मुंडा, किशुन दास, पूर्व सांसद यदुनाथ पांडे, पूर्व मुख्यमंत्री मधु कोड़ा, पूर्व सांसद अभय कांत प्रसाद, पूर्व सांसद गीता कोड़ा, पूर्व डिप्टी मेयर संजीव विजयवर्गीय, भाजपा संगठन महासचिव कर्मवीर सिंह, भाजपा नेता विष्णुकांत राय, कुणाल यादव, अमरदीप यादव, वरुण साव, सुशील दुबे, अमित कुमार, रमेश सिंह, इंदु शेखर मिश्रा, प्रतुल शाहदेव, शशांक राज, आरती कुजूर, सत्येंद्र तिवारी, मंगल मूर्ति तिवारी, गंगेश्वर यादव, विशाल गौतम, कृष्णकांत राय समेत 12 हजार अज्ञात भाजपा नेता और कार्यकर्ताओं को आरोपी बनाया गया है।
शिकायतकर्ता ने लगाए हैं गंभीर आरोप
शिकायतकर्ता के अनुसार मोरहाबादी मैदान में युवा सम्मेलन आयोजित करने की अनुमति शर्तों के साथ दी गई थी। इसी बीच सूत्रों से पता चला कि भारतीय जनता पार्टी के कई बड़े नेता मोरहाबादी मैदान में आयोजित युवा सम्मेलन कार्यक्रम में शामिल होकर विभिन्न मुद्दों का बहाना बनाकर मुख्यमंत्री आवास को घेरने और तोड़फोड़ करने की योजना बना रहे हैं। कार्यक्रम में शामिल प्राथमिकी में नामजद नेता युवाओं को भड़काते हुए भाषण दे रहे थे कि किसी भी परिस्थिति में मुख्यमंत्री आवास को घेरना है।
पुलिस ने भीड़ से बार-बार रुकने का अनुरोध किया
पुलिस प्रशासन द्वारा लगाए गए बैरिकेड्स को तोड़ना है और पुलिस प्रशासन के रास्ते में आने वाले किसी भी व्यक्ति को हटाने के लिए हर तरीका अपनाना है। लेकिन, किसी भी हालत में हमें मुख्यमंत्री आवास का घेराव कर अपनी ताकत दिखानी है। उनके इस प्रकार के भाषण से युवाओं में काफी आक्रोश पैदा हो गया और मुख्यमंत्री आवास का घेराव करने की योजना बनाई गई। इस दौरान भीड़ से कई बार रुकने का अनुरोध किया जा रहा था। उनसे बैरिकेडिंग नहीं तोड़ने और पथराव नहीं करने का अनुरोध किया जा रहा था।
पथराव में घायल हुए ये पुलिस कर्मी
लेकिन, वे बैरिकेडिंग तोड़ने के साथ ही पथराव करते रहे। इसमें कई कर्मी घायल हो गए हैं। घटना में उपद्रवियों द्वारा किए गए पथराव और जानलेवा हमले में थाना प्रभारी लोअर बाजार, कांस्टेबल श्याम सुंदर राम, अमित कुमार उपाध्याय, राजेश सिंह कुशवाहा, आईआरबी-04, लातेहार समेत करीब 25-30 पुलिसकर्मी गंभीर और सामान्य रूप से घायल हो गए हैं। इनका इलाज अलग-अलग अस्पतालों में चल रहा है। इसके बाद सुरक्षा और आत्मरक्षा की दृष्टि से पुलिस बल ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए वाटर कैनन का इस्तेमाल किया। साथ ही आंसू गैस, स्टन शेल, स्टन हैंड ग्रेनेड का इस्तेमाल किया गया। इसके बाद भारतीय जनता पार्टी के युवा कार्यकर्ता लड़खड़ाते हुए भाग निकले।